विवरण
एम.ओ.एम.एस.एम.ई. द्वारा खादी कारीगरों (स्पिनरों और बुनकरों) के लिए एक समूह बीमा योजना। यह योजना बीमित कारीगर की सामान्य मृत्यु, आकस्मिक मृत्यु, स्थायी या आंशिक दिव्यांगता पर बीमा कवर प्रदान करती है। बीमाकर्ता के 9वीं से 12वीं कक्षा में पढ़ने वाले बच्चों को छात्रवृत्ति प्रदान की जाती है।
कारीगर को स्वीकृत व्यवसाय समूह का सदस्य होना चाहिए। यह योजना खादी और ग्रामोद्योग आयोग (के.वी.आई.सी.) द्वारा भारतीय जीवन बीमा निगम (एल.आई.सी.) के सहयोग से बनाई गई थी
फ़ायदे
- मृत्यु होने पर:प्राकृतिक कारण – ₹20,000; और दुर्घटना – ₹50,000।
- स्थायी दिव्यांगता पर(दोनों आंखों या दो अंगों (लिंब) का काम न करना) – ₹50,000।
- आंशिक दिव्यांगता पर(एक आंख या एक अंग (लिंब) का काम न करना) – ₹25,000।
- निःशुल्क अतिरिक्त लाभ: खादी कारीगर के 9वीं से 12वीं कक्षा में पढ़ने वाले बच्चों के लिए ₹300 प्रति तिमाही छात्रवृत्ति, जो कि प्रति परिवार अधिकतम 2 बच्चों के अधीन है।
पात्रता
- आवेदक खादी कारीगर होना चाहिए।
- आवेदक की उम्र 18 से 59 साल के बीच होनी चाहिए।
- आवेदक किसी स्वीकृत व्यावसायिक समूह का सदस्य होना चाहिए।
- समूह में कम से कम 25 सदस्य होने चाहिए।
आवेदन प्रक्रिया
ऑफलाइन
दिवंगत व्यक्ति द्वारा चयनित नॉमिनी या नामिती को निम्नलिखित प्रक्रिया का पालन करना होगा:
- स्टेप 1: लाभार्थी को दिवंगत व्यक्ति का मूल मृत्यु प्रमाण पत्र भारतीय जीवन बीमा निगम के पेंशन समूह योजना विभाग को उस खादी संस्था के माध्यम से प्रस्तुत करना होगा जिसके तहत दिवंगत व्यक्ति सदस्य था।
- स्टेप 2: आकस्मिक मृत्यु के मामले में आवेदन के साथ-साथ पुलिस जांच रिपोर्ट भी जमा करनी होगी।
- स्टेप 3: एजेंसी क्लेम रिकॉर्ड/कागजात के साथ-साथ दस्तावेजों को एल.आई.सी. को उस शाखा के रूप में अग्रेषित करेगी जिसे मूल रूप से बीमा कवर में चयनित किया गया है।
- स्टेप 4: जीवन बीमा निगम सीधे लाभार्थी को अकाउंट पेयी चेक भेजकर सभी दावों का निपटारा करेगा। इसकी सूचना संबंधित राज्य सरकार को देनी होगी।
आवश्यक दस्तावेज़
- आयु का प्रमाण
- आय का प्रमाण (आय प्रमाण पत्र)
- व्यवसाय का प्रमाण
- आधार
- बैंक का विवरण (आधार से जुड़ा हुआ)
- मृत्यु प्रमाण पत्र / नि:शक्तता प्रमाण पत्र ( विशिष्ट मामले में)
अधिकतर पूछे जाने वाले सवाल
इस योजना के अनुसार ‘स्थायी निःशक्तता (दिव्यंगता)’ की क्या परिभाषा है?
इस योजना के उद्देश्य के लिए, ‘स्थायी निःशक्तता’ का आशय दो आँखों या दो अंगों का नुकसान से है।
प्राकृतिक कारणों से मृत्यु होने पर अधिकतम कितनी वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है?
प्राकृतिक कारण से होने वाली मृत्यु के लिए 20, 000 रू. की वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है।
क्या आवेदक के बच्चों के लिए कोई लाभ है?
जी हाँ, 9वीं से 12वीं कक्षा में पढ़ने वाले खादी कारीगर के बच्चों के लिए 300 रू. प्रति तिमाही छात्रवृत्ति प्रदान करने का प्रावधान है, (प्रति परिवार अधिकतम 2 बच्चों के अध्यधीन )।
मैं 45 साल का एक खादी बुनकर हूं। मैं जानना चाहता हूं कि क्या इस योजना हेतु आवेदन करने के लिए मेरी उम्र अधिक हो गई है?
इस योजना में ऊपरी आयु सीमा 59 वर्ष है, इसलिए आप आवेदन करने के लिए पात्र हैं।
क्या इस योजना हेतु पात्र होने के लिए मुझे किसी विशेष राज्य से होने की आवश्यकता है?
यह योजना भारत के सभी राज्यों के नागरिकों के लिए समान रूप से लागू है।
क्या इस योजना के तहत आंशिक नि:शक्तता को कवर किया जाता है?
जी हाँ, आंशिक नि:शक्तता , अर्थात एक आंख या एक अंग का नुकसान को केकेजेबीवाई मेंपूरी तरह से कवर किया गया है।
क्या इस योजना के तहत आंशिक नि:शक्तता को कवर किया जाता है?
जी हाँ, आंशिक नि:शक्तता , अर्थात एक आंख या एक अंग का नुकसान को केकेजेबीवाई मेंपूरी तरह से कवर किया गया है।
किस माध्यम से मुझे इस योजना का लाभ प्राप्त होगा?
यह योजना एलआईसी के अधीन है, इसलिए एलआईसी ही मृत व्यक्ति के नामित व्यक्ति को लाभ जारी करेगा।
मैं प्रीमियम अंशदान का विवरण जानना चाहता हूँ?
कारीगर – 12.5 रू. , खादी संस्थान – 25 रू., केवीआईसी – 12.5रू. एलआईसी द्वारा प्रशासित सामाजिक सुरक्षा निधि – 50रू. ।
क्या आवेदन प्रक्रिया ऑनलाइन है?
फिलहाल, यह योजना केवल ऑफलाइन आवेदन प्रक्रिया का समर्थन करती है।
Hello. yuzovka
fenix4967494
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